What is MSP in Hindi नमस्कार दोस्तों Mybestindia में आपका स्वागत है आज इस जानकारी में हम बात करेंगे न्यूनतम समर्थन मूल्य नीति मिनिमम सपोर्ट प्राइस एमएसपी के बारे में एमएसपी क्या होता है चलिए प्रेम उसके बारे में पूरी जानकारी को जान लेते हैं।
जैसा कि आप न्यूज़ में आए दिन आप सब लोग सुनते होंगे सरकार जो है किसानों की न्यूनतम समर्थन मूल्य इतना गुनाह करने की तैयारी में है इतना गुना बढ़ाने की तैयारी में है। क्या घोषणा किया है। किसान भारत में एक बहुत बड़ा आबादी है जो कि किसी पर निर्भर है भारत में 55% आबादी कृषि पर निर्भर है।
MSP क्या है। एमएसपी की जानकारी
एमएसपी का पूरा नाम ( MSP Full Form)
एमएसपी का फुल फॉर्म है Minimum Support Price हिंदी में से न्यूनतम समर्थन मूल्य कहते हैं।
एमएसपी यानी कि न्यूनतम समर्थन मूल्य क्या है (What is MSP)
न्यूनतम समर्थन मूल्य यानी की एमएसपी भारत में कृषि उपज के लिए न्यूनतम मूल्य की गारंटी है। एमएसपी की घोषणा भारत सरकार के द्वारा कुछ निश्चित फसलों के लिए बुवाई के मौसम में शुरुआत में की जाती है ताकि उत्पादक यानी कि किसान को इस बात की गारंटी प्रदान की जा सके कि देश में कितना भी अधिक खाद्यान्न बंद हो जाए किसानों को उनकी फसल का उचित मूल्य मिलेगा।
मान लीजिए कि कोई किसान है वह उत्पादन करता है किसी फसल का और उत्पादन जो है किसी वर्ष काफी ज्यादा होता है तो उसी खेत में आपको मांग और पूर्ति का नियम लागू होता है तथा किसी चीज का ज्यादा उत्पादन हो जाता है तो उसका दाम ऑटोमेटिक गिर जाता है।
जैसा कि आप देखेंगे जब व धान की खेती होती है धान कट जाता है तो ज्यादा धान की खेती होने पर धान का दाम गिर जाता है उसके प्राइस में गिरावट आ जाती है। और उसका समय जाने के बाद उसके दाम में वृद्धि हो जाती है।
न्यूनतम समर्थन मूल्य के लाभ (MSP Benifit)
किसान प्रत्येक वर्ष ज्यादा से ज्यादा मेहनत करते हैं और ज्यादा मेहनत करने के बाद अधिक उत्पादन होता है उसका दाम ऑटोमेटिक गिर जाता है उनका लागत उतना भी नहीं मिल पाता है इतना लागत लगाते हैं अर्थात जितना उनका लगाई में लगा है।
- तो उस स्थिति में ज्यादा उत्पादन हो गया यह कारण होता है। उस स्थिति में सरकार एक रेट फिक्स करती है एक मूल्य फिक्स करती है जो कि किसानों के जिसमें जितना उनकी लागत लगी होती है। उन सब को जोड़कर एक न्यूनतम समर्थन मूल्य दिया जाता है।
- भारत में किसानों को उनकी उपज का ठीक मूल्य दिलाने और बाजार में कीमतों को गिरने से रोकने के लिए सरकार न्यूनतम समर्थन मूल्य की घोषणा करती है।
- कृषि लागत और मूल्य आयोग कमीशन फॉर एग्रीकल्चर कॉस्ट एंड प्राइस की सिफारिशों पर साक्षर।
- फसल बोने के पहले कुछ कृषि उत्पादन पर स्थानीय मूल्य की घोषणा करती है।
- आमतौर से जब फसल बेहतर हो तब समर्थन मूल्य की जरूरत होती है। तो उसका नियंत्रण करने के लिए समर्थन मूल्य चाहिए ताकि उस में कितना लागत लगा है उसका जीवन निर्वाह अच्छा हो सके।
न्यूनतम समर्थन मूल्य को तय कैसे करते है।
किसी लागत और मूल्य आयोग रवि और खरीफ की फसलों की एमएसपी को तय करते समय कई कारणों को ध्यान में रखते हैं
- इनमें उत्पादन लागत से कम से कम 50% अधिक मूल्य तय करना
- मांग और आपूर्ति
- इनपुट की कीमतों में बदलाव
- इनपुट आउटपुट मूल्य क्षमता
- जीवन यापन की लागत पर प्रभाव
- सामान्य मूल्य स्तर पर प्रभाव
- बाजार की कीमतों का रुझान
- किसानों द्वारा प्राप्त कीमती और उनके द्वारा भुगतान की गई कीमतों के बीच क्षमता
- अंतरराष्ट्रीय मूल्य स्थिति आदि।
कितनी फसलों के लिए न्यूनतम समर्थन मूल्य को घोषित किया जाता है।
देखिए दोस्तों भारत में कृषि लागत और मूल्य आयोग सीएसीपी जिसे भारत में कृषि लागत और मूल्य आयोग इसकी सिफारिशों पर किसी विभाग और संयुक्त भारत सरकार द्वारा 22 फसलों का न्यूनतम समर्थन मूल्य घोषित किया जाता है।
इन 22 फसलों में 6 रबी फसलें 14 खरीफ मौसम की फसलें और दो अन्य वाणिज्यिक फसलें होती हैं।
- जिनमें 7 अनाज जैसे गेहूं धान, बाजरा,जौ, ज्वार,रागी और मक्का होते हैं।
- जबकि दलहन की 5 फसलें होते हैं जिसमें अरहर, चना, उड़द मूंग और मसूर
- तिलहन की 8 फसलें शामिल है जिसमें सरसों, मूंगफली, सोयाबीन, तोरिया, तिल,केसर बीज, सूरजमुखी के बीज समिल है।
आशाकरता हूं कि हमारी यह जानकारी MSP क्या है एमएसपी का फुल फॉर्म है उसकी के बारे में पूरी जानकारी को समझ में आ गई हो यदि आपको इस जानकारी से संबंधित कोई सवाल पूछना हो तो हमें कमेंट करके पूछ सकते हैं और इस जानकारी को सोशल मीडिया जैसे फेसबुक, व्हाट्सएप, टि्वटर पर शेयर जरूर करें।
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